पर्यावरण संरक्षण को जन आंदोलन बनाना जरूरी
पर्यावरण की समस्या से निपटने के लिए जनभागीदारी की भूमिका अभिन्न है। केन्द्रीय पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने नई दिल्ली में जन अभियान #SelfiewithSapling (सेल्फीविदसैपलिंग) लांच करते हुए यह बात कही। उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि वे पौधारोपण करें और उस समय की सेल्फी सोशल मीडिया पर डालें।
केन्द्रीय मंत्री ने बताया कि विश्व पर्यावरण दिवस पर वह जाने माने क्रिकेट खिलाड़ी कपिल देव तथा फिल्म अभिनेता जैकी श्राफ के साथ नई दिल्ली के पर्यावरण भवन में पौधारोपण करेंगे।
विश्व पर्यावरण दिवस 2019 का संदेश है कि सरकारें, उद्योग, समुदाय और व्यक्ति एक साथ आएं, ताकि नवीकरणीय ऊर्जा और हरित टेक्नोलॉजी की खोज की जा सके और विश्व भर में वायु गुणवत्ता सुधारी जा सके। विश्व पर्यावरण दिवस पर्यावरण संरक्षण के बारे में सोच व्यापक करने और व्यक्तियों, उद्यमों तथा समुदायों को पर्यावरण संरक्षण बढ़ाने के लिए उत्तरदायी आचरण का अवसर प्रदान करता है। विश्व पर्यावरण दिवस सार्थक पर्यावरण कार्य के लिए विश्व का सबसे बड़ा आयोजन है और यह प्रतिवर्ष 5 जून को मनाया जाता है।
वायु प्रदूषण स्वास्थ्य पर पर्यावरण का सबसे बड़ा खतरा है। यह आघात, श्वास की गंभीर बीमारी तथा फेफड़ा कैंसर से होने वाली एक तिहाई मृत्यु का कारण है। वायु प्रदूषण एक चौथाई दिल का दौरा पड़ने से होने वाली मृत्यु का कारण है। या यूँ कहें कि वायु प्रदूषण मूल रूप से हमारी जलवायु को बदल रहा है और इसका स्वास्थ्य पर प्रभाव पड़ रहा है।
· विश्व के 92 प्रतिशत लोग स्वच्छ हवा में सांस नहीं लेते।
· वायु प्रदूषण के कारण वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रतिवर्ष 5 ट्रिलियन डॉलर का नुकसान होता है।
· भूस्तरीय ओजोन प्रदूषण से 2030 तक 26 प्रतिशत फसलें कम हो जाएंगी।
भारत ने राष्ट्रीय स्वच्छ वायु कार्यक्रम (एनसीएपी) लांच किया है। यह लंबी अवधि की समयबद्ध राष्ट्रीय स्तर का कार्यक्रम है और यह देश में बढ़ती प्रदूषण समस्या से निपटना है। एनसीएपी वायु प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण के लिए व्यापक कार्यक्रम है और यह वायु गुणवत्ता निगरानी नेटवर्क को मजबूत बनाता है। राष्ट्रीय स्तर पर अस्थायी लक्ष्य 2024 तक पीएम2.5 तथा पीएम10 को 20 प्रतिशत से 30 प्रतिशत तक खत्म करना है। इस वर्ष के विश्व पर्यावरण दिवस का फोकस प्रदूषण की खराब स्थिति वाले 102 शहरों पर होगा।